उच्च रक्तचाप एक सामान्य स्थिति है, जिसमें असामान्य रूप से उच्च रक्तचाप का स्तर होता है। उच्च रक्तचाप के अंतर्निहित तंत्र में परिधीय संवहनी प्रतिरोध में वृद्धि और/या हृदय उत्पादन में वृद्धि शामिल है। उच्च रक्तचाप के विकास में कई कारक योगदान दे सकते हैं, जिनमें आयु, पारिवारिक इतिहास, मोटापा, शारीरिक निष्क्रियता और धूम्रपान शामिल हैं। उच्च रक्तचाप हृदय, गुर्दे और मस्तिष्क जैसे लक्षित अंगों को नुकसान पहुंचा सकता है, जिससे हृदय रोग, गुर्दे की विफलता और स्ट्रोक हो सकता है। उच्च रक्तचाप के प्रभावी प्रबंधन में अंतर्निहित तंत्र को लक्षित करना और लक्षित अंगों को नुकसान से बचाने के उपायों को लागू करना शामिल है। उच्च रक्तचाप के प्रबंधन का मुख्य आधार जीवनशैली में बदलाव है, जिसमें वजन कम करना, नियमित शारीरिक गतिविधि और स्वस्थ आहार शामिल हैं। जीवनशैली में बदलाव के अलावा, उच्च रक्तचाप को प्रबंधित करने के लिए औषधीय हस्तक्षेप का भी उपयोग किया जाता है। एंटीहाइपरटेंसिव दवाओं को उनकी क्रियाविधि के आधार पर वर्गीकृत किया जा सकता है, जिसमें मूत्रवर्धक, बीटा-ब्लॉकर्स, कैल्शियम चैनल ब्लॉकर्स और एंजियोटेंसिन-कनवर्टिंग एंजाइम (ACE) अवरोधक शामिल हैं।
विभागाध्यक्ष एवं विशेषज्ञ आंतरिक चिकित्सा, जुलेखा अस्पताल, दुबई
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