यह सत्र दो गंभीर प्रसूति आपात स्थितियों पर केंद्रित है: रिससिटेटिव हिस्टेरोटॉमी और पेरिपार्टम कार्डियोमायोपैथी। इन दुर्लभ लेकिन जीवन-धमकाने वाली स्थितियों में समय पर पहचान और मातृ एवं भ्रूण के परिणामों में सुधार के लिए त्वरित बहु-विषयक हस्तक्षेप की आवश्यकता होती है। चर्चा में नैदानिक प्रस्तुति, उच्च दबाव वाले परिदृश्यों में निर्णय लेने की प्रक्रिया और आपातकालीन प्रबंधन में वर्तमान सर्वोत्तम प्रथाओं पर चर्चा की जाएगी। स्वास्थ्य सेवा प्रदाताओं के बीच तैयारी को बेहतर बनाने के लिए वास्तविक जीवन के मामलों की अंतर्दृष्टि और साक्ष्य-आधारित प्रोटोकॉल साझा किए जाएँगे। इस वेबिनार का उद्देश्य इन उच्च-जोखिम स्थितियों के प्रभावी प्रबंधन में नैदानिक आत्मविश्वास को मजबूत करना है।
आपातकालीन चिकित्सा सलाहकार, सैंडवेल और वेस्ट बर्मिंघम एनएचएस ट्रस्ट, इंग्लैंड
डॉ. हिमांशु मिरानी इंग्लैंड के सैंडवेल और वेस्ट बर्मिंघम एनएचएस ट्रस्ट में आपातकालीन चिकित्सा सलाहकार हैं। उच्च-तीव्रता वाले आपातकालीन मामलों को संभालने के व्यापक अनुभव के साथ, वे अपनी नैदानिक विशेषज्ञता और गंभीर परिस्थितियों में शांत निर्णय लेने के लिए जाने जाते हैं। डॉ. मिरानी की चिकित्सा शिक्षा में गहरी रुचि है और वे नियमित रूप से स्वास्थ्य सेवा पेशेवरों को आपातकालीन प्रोटोकॉल और आघात देखभाल का प्रशिक्षण देते हैं। उनका अंतर्राष्ट्रीय अनुभव और आपातकालीन प्रतिक्रिया प्रणालियों को बेहतर बनाने के प्रति समर्पण उन्हें आज के प्रसूति संबंधी आपात स्थितियों पर सत्र में एक महत्वपूर्ण वक्ता बनाता है।